12 दिवसीय उद्यमिता विकास कार्यक्रम के पांचवें दिन छात्र -छात्राओं को उद्यम स्थापित करने की गुर सिखाए गए

रानीखेत -स्व श्री जयदत्त वैला स्वतंत्रता संग्राम सेनानी राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय रानीखेत, अल्मोड़ा में उच्च शिक्षा विभाग उत्तराखंड सरकार एवं भारतीय उद्यमिता विकास संस्थान, अहमदाबाद (गुजरात) के संयुक्त तत्वाधान में “देवभूमि उद्यमिता योजना” अंतर्गत 12 दिवसीय उद्यमिता विकास कार्यक्रम के पंचम दिवस पर “कृषि खाद्य प्रसंस्करण, जोखिम प्रबंधन, एवं उद्यमिता विकास” विषयों पर विशेषज्ञों ने ने व्याख्यान दिए।
कार्यक्रम का शुभारंभ प्रभारी प्राचार्य, प्रोफेसर पीएन तिवारी, मुख्य अतिथि एवं मुख्य वक्ता कैलाश सती एवं एडवोकेट कुसुम पांडे द्वारा दीप प्रज्वलित कर किया गया। स्वागत संबोधन में प्राचार्य द्वारा मुख्य अतिथि एवं अन्य गणमान्य अतिथियों का अभिवादन किया गया एवं स्वरोजगार को आज की जरूररत बताया गया। तत्पश्चात मुख्य वक्ता एवं मुख्य अतिथि कैलाश सती द्वारा छात्र-छात्राओं को उद्यम स्थापित करने की गुर सिखाए गए। उन्होंने बताया कि उद्यम स्थापित करने से पूर्व उद्यम संबंधी समस्त जानकारी को जुटाना एवं उनकी जांच पड़ताल करना नितांत आवश्यक है। उद्यम में आने वाले उतार-चढ़ाव पर धैर्य बनाए रखना एक उद्यमी का मुख्य गुण है। सत्र की दूसरी वक्ता एडवोकेट कुसुम पांडे द्वारा उद्यमिता विकास एवं अवसर पर बृहद व्याख्यान दिया गया, जिसमें उन्होंने एक उद्यमी को उद्यम विकास के मूल तत्वों की जानकारी प्रदान की। इसके साथ ही उन्होंने उद्यमिता प्रक्रिया को भी समझाया।
कार्यक्रम का संचालन का नोडल अधिकारी डॉ राहुल चन्द्रा द्वारा किया गया। इस दौरान डॉ आस्था अधिकारी, डॉ निष्ठा शर्मा, डॉ रूचि साह, डॉ मीना परगाईं समस्त छात्र-छात्राएं मौजूद रहे।





